उपायुक्त गुमला शिशिर कुमार सिन्हा की अध्यक्षता में विशेष केंद्रीय सहायता, आकांक्षी जिला योजना, अनाबद्ध निधि तथा पर्यटन मद अंतर्गत स्वीकृत एवं कार्यान्वित योजनाओं के प्रगति की समीक्षा हेतु बैठक आईटीडीए भवन स्थित उपायुक्त के कार्यालय प्रकोष्ठ में की गई.उपायुक्त ने विशेष केंद्रीय सहायता योजनांतर्गत कार्यान्वित योजनाओं के प्रगति की समीक्षा की। लघु सिंचाई प्रमंडल के कार्यों की समीक्षा के क्रम में पाया गया कि 87 स्वीकृत योजनाओं में से 77 योजनाएं पूर्ण कर ली गई हैं, जबकि शेष 10 योजनाएं अपूर्ण हैं। ये सभी अपूर्ण योजनाएं माईक्रोलिफ्ट सिंचाई से संबंधित हैं। इसपर उपायुक्त ने सभी अपूर्ण योजनाओं को जनवरी माह के अंत तक पूर्ण करते हुए उपयोगिता प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने का निर्देश दिया।
समीक्षा के दौरान पाया गया कि भारतीय लोक कल्याण संस्थान राँची द्वारा बिशुनपुर प्रखंड में 08 एवं घाघरा प्रखंड में 02, कुल 10 आंगनबाड़ी केंद्रों को मॉडल आंगनबाड़ी केंद्रों के रूप में विकासित किया जाना था। जो अपूर्ण पाया गया। भारतीय लोक कल्याण संस्थान राँची के प्रतिनिधि द्वारा कार्य प्रगति पर होने की जानकारी दी गई। इसपर उपायुक्त ने मॉडल आंगनबाड़ी केंद्रों के रूप में विकसित किए जाने वाले सभी आंगनबाड़ी केंद्रों की जाँच जिला समाज कल्याण पदाधिकारी द्वारा सुनिश्चित करवाने का निर्देश दिया। साथ ही उन्होंने उक्त कार्य में उच्च गुणवत्तायुक्त सामग्रियों का उपयोग सुनिश्चित करने का निर्देश भारतीय लोक कल्याण संस्थान राँची को दिया। वहीं कार्य में शिथिलता बरतने तथा जाँच में निम्न स्तर के निर्माण सामग्रियों का उपयोग पाए जाने पर संबंधित संस्थान पर सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया।
उपायुक्त ने आकांक्षी जिला योजनांतर्गत कार्यान्वित योजनाओं के प्रगति की समीक्षा की। समीक्षा के क्रम में जिला परिषद द्वारा बिशुनपुर प्रखंड के निरासी पंचायत स्थित कुमाड़ी सरयू मार्ग में आरसीसी पुलिया एवं गार्डवाल निर्माण कार्य अपूर्ण पाया गया। जिला अभियंता द्वारा ढलाई कार्य की प्रक्रिया जारी होने की जानकारी दी गई। जिसपर जिला योजना पदाधिकारी ने बताया कि विगत 02 वित्तीय वर्षों से अधिक समय बीत जाने पर भी उक्त निर्माण कार्य पूर्ण नहीं हो पाया है। इसपर उपायुक्त ने जिला अभियंता को अगले तीन दिनों के अंदर स्थल निरीक्षण कर निर्माण कार्य की भौतिक स्थिति से अवगत कराने का निर्देश दिया।
बैठक में उप विकास आयुक्त कर्ण सत्यार्थी ने सभी तकनीकि पदाधिकारियों को उनके संबंधित विभागों द्वारा संचालित एवं पूर्ण योजनाओं में अबतक सृजित ऐसेट्स का पूरा ब्यौरा ऐसेट पंजी में संधारित कर प्रतिवेदित करने का निर्देश दिया। उन्होंने जिला अभियंता को जिला परिषद, जिला पंचायत तथा ग्राम पंचायत स्तर पर भी योजनाओं में सृजित ऐसेट्स का ब्यौरा प्रतिवेदित करने पर जोर दिया।
उपायुक्त ने पर्यटन मदांतर्गत कार्यान्वित योजनाओं के प्रगति की समीक्षा की। ग्रामीण विकास विशेष प्रमंडल के कार्यों की समीक्षा के दौरान पाया गया कि पर्यटन मदांतर्गत 47 योजनाओं में से 30 योजनाएं पूर्ण व शेष 17 योजनाएं अपूर्ण हैं। जिसपर कार्यपालक अभियंता द्वारा बताया गया कि वित्तीय वर्ष 20-21 में 22 योजनाओं में से 09 योजनाएं पूर्ण कर ली गई हैं। वहीं सिरा-सीता धाम पर्यटनस्थल में ढकनी चुँआ कुण्ड के सौंदर्यीकरण का कार्य वन भूमि होने के कारण अपूर्ण है। जिसके लिए वन विभाग से एनओसी प्राप्त करने की प्रक्रिया की जा रही है। लघु सिंचाई प्रमंडल द्वारा 02 योजनाओं में कार्य अपूर्ण पाया गया। जिसपर कार्यपालक अभियंता ने मार्च माह तक दोनों अपूर्ण योजनाओ को पूर्ण करने की बात कही।
इसके साथ ही आंजनधाम में निर्माणाधीन प्रखंड स्तरीय गेस्ट हाउस भवन तथा डुमरी प्रखंड के टांगीनाथ पर्यटक स्थल में निर्माणाधीन गेस्ट हाउस भवन के कार्य की समीक्षा के क्रम में जिला अभियंता जिला परिषद ने पर्यटक स्थल टांगीनाथ में मार्च माह तक तथा आंजनधाम के प्रखंड स्तरीय गेस्ट हाउस भवन का निर्माण फरवरी माह में पूर्ण करने की बात कही। उपायुक्त ने सभी विभागों को उनसे संबंधित सभी अपूर्ण योजनाओं को समय पर पूर्ण करने का निर्देश दिया।
