सिमडेगा:-सिमडेगा अनुमंडल पदाधिकारी महेन्द्र कुमार के द्वारा आगामी त्योहार के मदेनजर आमजन के स्वास्थ्य को देखते हुए निर्देश जारी करते ही खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी , सिमडेगा के द्वारा सिमडेगा जिला स्थित फलों में मिलाये जा रहें कृत्रिम रंग की औचक निरीक्षण जांच में जुट गई ।जहां श्यामपथ गली स्थित फल थोक बिक्रेता के गोदामों में छापामारी किया गया जहा फलों में मिलाये जा रहे रसायनों का विश्लेषण तथा जांच किया गया जिसमें फलों को जल्द पकाने के लिए एथिलीन जैसी रसायन का प्रयोग किया जा रहा था । जांच के क्रम में पता चला की फल कारोबारियों के द्वारा एथिलीन रसायन मिलाकर उसे एक बड़े गोलाकार बर्तन में कच्चे फलों को पकाने के लिए पानी के घोल में डुबाकर रखा जा रहा है । केलों को दो दिनों तक रसायन के मिश्रण में रख दिया जाता है जिससे 7 दिनों में पकने वाले केले तीन दिनों में पक कर बाजार में उपभोगताओं को बिक्री किया जाता है ।

अभिहित अधिकारी – सह – अनुमण्डल पदाधिकारी , सिमडेगा द्वारा बताया गया कि भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्रधिकरण ने फलों को कृत्रिम रूप से पकाने के लिए एथिलीन गैस के उपयोग की अनुमति दी है । किन्तु फलों को पकाने कि इस प्रक्रिया से विपरीत फल कारोबारी इसका गलत इस्तेमाल किया करते है जिससे कम समय में ज्यादा मुनाफा कमा सके , जिससे कि रसायन युक्त फल हमारे शरीर में जाकर हमारे स्वास्थ्य पर प्रतिकुल प्रभाव डाल सकते है । अनुमण्डल पदाधिकारी सिमडेगा ने बताया कि ऐसी स्थिति में स्वास्थ्य कि साथ खिलवाड़ करने वालों को बख्सा नही जायेगा उन्होंने कारोबारियों को नोटिस निर्गत करते हुए दो दिनों का समय दिया गया है जिसमें कारोबारी अपना पक्ष रख सकते है। इधर फल में केमिकल मिलाने की सूचना शहर में फैल गई जिसके बाद लोग भी अब ऐसे फलों को खाने से परहेज कर रहे हैं।
